बिहार में बाढ़ से मरने वालों की संख्या ३४१ तक पहुँच गयी है. अभी भी १८ जिलों के १.४६ करोड़ लोग बढ़ की चपेट में हैं. ७.६१ लाख लोगों को राहतकर्मिओं द्वारा सुरक्ष्क्षित स्थानों पर पहुंचाया गया है. जिन इलाकों में पानी काम हुआ है वह लोग अपने घरों की और लौटने लगे हैं.
इस बीच, बिहार के उप मुख्यमंत्री सुशील कुमार मोदी ने ट्वीट कर बताया है कि २६ अगस्त को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी सूबे के बढ़ प्रभावित जिलों का हवाई सर्वे करेंगे। मंगलवार को नयी दिल्ली में भाजपा शाषित राज्यों के मुख्यमंत्री और उपमुख्यमंत्रिओं के बैठक ने सभी भाजपा शाषित राज्यों से इस आपदा की घडी में बिहार की मदद करने की अपील की है.
आपदा प्रबंधन विभाग के विशेष सचिव अनिरुद्ध कुमार के अनुसार सूबे में चलाये जा रहे १०८५ राहत कम्पों में तकरीबन २.२९ लाख लोगों को हर संभव सहायता पहुचायी जा रही है.
उनके अनुसार सिर्फ अररिया जिले में भीषण बाढ़ के कारण ७५ लोगों की जाने गईं हैं. वहीँ सीतामढ़ी में ३६, पश्चिमी चम्पारण में ३६, कटिहार में २६, किशनगंज में २३, मधुबनी में २३, पूर्वी चम्पारण, दरभंगा और मधेपुरा में १९-१९ लोगों की मौत बाढ़ के कारन हुई है. इसके अलावे सुपौल में १५, गोपालगंज में १४ , purnea में ९, मुजफ्फरपुर में में भी ७ लोगों के अपनी जान गंवानी पड़ी है.
इधर मुख्यमंत्री नितीश कुमार बुधवार को सड़क मार्ग से कटिहार,किशनगंज और अररिया में बाढ़ राहत के कार्यों का जायजा ले रहे हैं. बाढ़ प्रभावित इलाकों में १६०८ कम्युनिटी किचन बनाये गए हैं जहाँ रोजाना ४ .५२ लाख लोगों को भोजन मुहैया कराया जा रहा है.
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